नगर निगम ने गृहकर (हाउस टैक्स) में छूट पाने के लिए यूजर चार्ज जमा करना अनिवार्य किए जाने पर विरोध के सुर तेज हो गए हैं। इस्माइलगंज प्रथम वार्ड के पार्षद मुकेश सिंह चौहान ने मेयर को पत्र लिखकर इस शर्त को जनविरोधी करार दिया है और इसे तत्काल हटाने की मांग की है। पार्षद चौहान ने पत्र में लिखा कि यह पहली बार है जब नगर निगम ने गृहकर में छूट के लिए यूजर चार्ज जमा करने की अनिवार्यता जोड़ी है। जबकि कई वर्षों में ऐसी कोई शर्त नहीं थी। उन्होंने कहा कि नगर निगम व्यापारिक प्रतिष्ठान की तरह नियमों को ऑफर की तरह लागू कर रहा है, जबकि गृहकर और यूजर चार्ज दोनों ही भिन्न विषय हैं। उन्होंने यह भी बताया कि लखनऊ में कूड़ा उठान की व्यवस्था भी संतोषजनक नहीं है। नगर निगम के कई ज़ोन में घरों से प्रतिदिन कूड़ा नहीं उठाया जा रहा है। तीन-चार दिन बाद कूड़ा उठने की शिकायतें आम हैं। इसके बावजूद नागरिकों पर नए नियमों के माध्यम से यूजर चार्ज वसूलने का दबाव बनाया जा रहा है। पूर्व में गृहकर में जुलाई तक 10 प्रतिशत और दिसंबर तक 5 प्रतिशत की छूट दी जाती थी। इस साल नियमों में बदलाव कर नकद भुगतान पर 8 प्रतिशत और ऑनलाइन भुगतान पर 10 प्रतिशत की छूट दी गई। लेकिन कुछ ही महीनों में यह नियम भी बदल दिए गए, जिससे आम नागरिकों में भ्रम और नाराज़गी है।