डूब क्षेत्र में किए गए अतिक्रमण पर गोरखपुर विकास प्राधिकरण (GDA) ने कार्रवाई शुरू कर दी है। बुधवार को चिलुआताल क्षेत्र के जमुआड़ में डूब क्षेत्र में की जा रही अवैध प्लाटिंग को ध्वस्त कर दिया गया। यहां अंकित पांडेय की ओर से 5 एकड़ में अवैध प्लाटिंग की गई थी।
उपाध्यक्ष आनन्द वर्द्धन के नेतृत्व में पहुंची टीम ने प्लाटिंग का तलपट मानचित्र मांगा लेकिन डेवलपर मौके पर दिखा नहीं सके। जिसके बाद कार्रवाई की गई। राप्ती एवं रोहिन नदियों के डूब क्षेत्र में किसी प्रकार का मानचित्र पास नहीं किया जा रहा है। लेकिन धड़ल्ले से प्लाटिंग की जा रही है। इसी क्रम में बुधवार को कार्रवाई की गई। वहां कुछ अन्य लोगों ने भी बाउंड्रीवाल बनाई थी। उसे भी तोड़ दिया गया।
टीम का नेतृत्व कर रहे मुख्य अभियंता किशन सिंह ने बताया कि इस तरह की कार्रवाई जारी रहेगी। अवैध रूप से प्लाटिंग बर्दाश्त नहीं की जाएगी। कार्रवाई करने वाली टीम में सहायक अभियंता राजबहादुर सिंह, अनिल सिंह, संजीव तिवारी, ज्योति, अवर अभियंता रोहित कुमार, मनीष कुमार त्रिपाठी, प्रभात कुमार, राकेश कुमार व पुलिस एवं पीएसी के जवान उपस्थित रहे। बड़े शोरूमों के पास भी नहीं हैं पार्किंग
शहर के बड़े शोरूमों के पास भी पार्किंग की सुविधा नहीं है। बड़े-बड़े व्यावसायिक भवन बना लिए गए हैं लेकिन गाड़ी खड़ी करने की जगह नहीं है। ग्राहक आए, उनका बिजनेस बढ़ाए और सड़क पर जाम लगने के कारण गाड़ी का चालान भी कटवाए। GDA की ओर से पार्किंग की जांच के दौरान यह बात खुलकर सामने आ रही है। 47 बहुमंजिला भवनों में से 25 में पार्किंग या तो नहीं है या उसका किसी और रूप में इस्तेमाल किया जा रहा है।
बेसमेंट में क्लीनिक, रेस्टोरेंट, जिम, दुकानें चल रहीं
जांच के दौरान बेसमेंट में व्यावसायिक गतिविधियां संचालित होती पायी जा रही हैं। जहां पार्किंग होनी चाहिए, उस जगह का किराया वसूला जा रहा है। गाड़ी सड़क पर पार्क करने को लोग मजबूर हैं। हर बार ही तरह इस बार भी GDA की ओर से नोटिस दिया जा रहा है। कई ऐसे भवन मालिक हैं, जिन्हें 1 साल पहले भी ऐसा की नोटिस मिल चुका है।