लखनऊ में फ्री होल्ड प्लॉट दिलाने के नाम पर जालसाजों ने एक दंपती से 65.50 लाख रुपए ठग लिए। एलडीए में नाम चढ़वाने पहुंचे पीड़ित को जब असली जानकारी मिली, तो पैरों तले जमीन खिसक गई। पता चला कि प्लॉट के सभी कागज़ फर्जी हैं और एलडीए की मोहर भी नकली लगी हुई है। विष्णुलोक कॉलोनी निवासी दिव्या दीक्षित ने बताया कि वह पति चंद्रमणि के साथ प्लॉट खरीदना चाहती थीं। इसी दौरान उनकी मुलाकात दिव्यांक वत्स सिन्हा से हुई। दिव्यांक ने खुद को प्रॉपर्टी डीलर बताते हुए कहा कि वह कानपुर रोड स्थित विश्ववती देवी नगर सेक्टर-डी में उचित दाम पर प्लॉट दिला सकता है। उसने दंपती की मुलाकात मनोहर लाल तोलानी और उनके बेटे गौतम तोलानी से कराई। दो लोगों को अलग-अलग रुपए दिए आरोपियों ने दावा किया कि प्लॉट एलडीए से जवाहरलाल गुरनानी को मिला था, जो बाद में आकाशदीप श्रीवास्तव और फिर उनके जरिए मनोहर लाल के पास आया। दस्तावेज देखकर दंपती ने भरोसा किया और 65.50 लाख रुपए में सौदा तय हुआ। इसमें से 15.50 लाख दिव्यांक को और 50 लाख मनोहर लाल को दिए गए। मई में मनोहर लाल ने दंपती के नाम रजिस्टर्ड बैनामा भी करा दिया। लेकिन जब दिव्या एलडीए पहुंचीं तो खुलासा हुआ कि ऐसा कोई प्लॉट कभी आवंटित ही नहीं हुआ। सभी कागजात और मोहरें फर्जी निकलीं। रुपए वापस मांगने पर आरोपियों ने दंपती को धमकाया और ऊंची पहुंच का डर दिखाया। डीसीपी साउथ निपुण अग्रवाल के निर्देश पर पुलिस ने दिव्यांक वत्स सिन्हा, मनोहर लाल तोलानी, उनके बेटे गौतम तोलानी और दो अज्ञात के खिलाफ धोखाधड़ी और धमकी की धाराओं में मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। इंस्पेक्टर शिवशंकर महादेवन के अनुसार, आरोपियों की तलाश की जा रही है और पूरे प्रकरण की गहराई से जांच जारी है।