उन्नाव के डीएम गौरांग राठी ने प्रसव पूर्व भ्रूण लिंग परीक्षण को लेकर कड़ा रुख अपनाया है। विकास भवन सभागार में पीसीपीएनडीटी समिति की बैठक में उन्होंने कहा कि इस गैरकानूनी कार्य में शामिल किसी को भी नहीं बख्शा जाएगा। मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. जय राम सिंह ने जिले के अल्ट्रासाउंड केंद्रों की वर्तमान स्थिति पर रिपोर्ट पेश की। डीएम ने सभी केंद्रों के लिए नए दिशा-निर्देश जारी किए हैं। केंद्रों पर केवल पंजीकृत डॉक्टर ही काम कर सकेंगे। डॉक्टर की फोटो केंद्र पर लगी होनी चाहिए। हर साल डॉक्टरों को कार्य का शपथ पत्र देना होगा। छुट्टी पर जाने से एक दिन पहले सीएमओ कार्यालय को मेल से सूचना देनी होगी। सभी केंद्रों पर सीसीटीवी कैमरा लगाना अनिवार्य है। कैमरे में 45 दिन का रिकॉर्ड सुरक्षित रखना होगा। जुर्माना या जेल हो सकती है
सीएमओ को विशेष टीम बनाकर केंद्रों का निरीक्षण करने के निर्देश दिए गए हैं। अवैध केंद्रों के खिलाफ तुरंत कार्रवाई की जाएगी। लिंग परीक्षण की शिकायत मिलने पर संचालक और डॉक्टर पर एफआईआर दर्ज होगी। पीसीपीएनडीटी नियमों का उल्लंघन करने वालों पर आर्थिक जुर्माना और जेल की सजा हो सकती है। बैठक में एसीएमओ डॉ. नरेंद्र सिंह, डिप्टी सीएमओ डॉ. मनीष और सभी अल्ट्रासाउंड केंद्र संचालक मौजूद थे।